बिहार के कई बीजेपी नेता आतंकियों के निशाने पर हैं. आईबी की रिपोर्ट और केंद्रीय गृह मंत्रालय की सूचना के बाद बिहार पुलिस मुख्यालय ने जिलों को अलर्ट किया है. रिपोर्ट के मुताबिक आतंकी संगठन इस्लामिक स्टेट खुरासान प्रांत ने अपनी पत्रिका के नये एडिशन में बीजेपी के खिलाफ हमले की बात लिखी है. इसे संगठन के ट्विटर हैंडिल पर शेयर किया गया था. साथ ही कई संगठन टेलीग्राम सहित मैसेजिंग एप पर भड़काऊ पोस्ट शेयर कर रहे हैं. इन बातों को ध्यान में रखते हुए पुलिस मुख्यालय की तरफ से बिहार में सभी जिलों के एसएसपी और एसपी के साथ ही रेल पुलिस को सभी आवश्यक एहतियात बरतने का निर्देश दिया गया है.
बता दें कि बिहार में बीजेपी के 17 सांसदों और 77 विधायकों में गिरिराज सिंह, अश्विनी चौबे, डॉ संजय जायसवाल, हरिभूषण ठाकुर बचौल सहित कई नेता अपनी फायर ब्रांड छवि के कारण ऐसे लोगों के निशाने पर रहते हैं. केंद्र ने पहले ही एक दर्जन बीजेपी नेताओं को वाई और कई नेताओं को जेड श्रेणी की सुरक्षा भी दे रखी है.
बिहार के फुलवारी शरीफ से गिरफ्तार संदिग्धों के मामले में एनआईए, आईबी और एटीएस के बाद अब प्रवर्तन निदेशालय भी सक्रिय हो गया है. सूत्रों के मुताबिक मंगलवार को दिल्ली स्थित ईडी मुख्यालय ने इस संबंध में मामला दर्ज कर लिया. अब ईडी की टीम पीएमएलए एक्ट के तहत पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) की फंडिंग की जांच करेगी. केंद्रीय एजेंसी यह पता लगायेगी कि बिहार में 15 हजार से ज्यादा मुस्लिम युवाओं को ट्रेनिंग देने से लेकर 15 जिलों में कार्यालय चलाने का खर्च पीएफआई के पास कहां से आता था. इसके लिए उनके बैंक खातों में हुए ट्रांजेक्शन की जांच की जायेगी. आशंका जतायी जा रही है कि यह पैसा हवाला के माध्यम से दूसरे देशों से पहुंचा है.
एनआईए की टीम ने सीतामढ़ी के ढाका में मंगलवार की शाम ताबड़तोड़ छापेमारी की और मोहब्बतपुर स्थित जामिया मारिया निस्वा मदरसा से अली असगर नामक शिक्षक को हिरासत में लिया. शिक्षक के रामगढ़वा स्थित घर गाद सिसवनिया में भी छापेमारी की गयी. उसे एनआईए पटना लेकर आयी है. इधर, इसके अलावा मदरसा के कुछ और शिक्षकों से पूछताछ के बाद उन्हें छोड़ दिया गया. अधिकारियों ने बताया कि आतंकी गतिविधियों को लेकर पूछताछ की जा रही है. असगर उक्त मदरसे में पढ़ाने के बाद ढाका स्थित एक मस्जिद में रात में विश्राम करता था. वहीं, दूसरी ओर मरगूब दानिश उर्फ ताहिर को 48 घंटे की रिमांड पर लिया है.
अतहर परवेज के मोबाइल फोन से बीजेपी की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा का फोन नंबर और उनका पता मिलने से सनसनी बढ़ गयी है. आशंका जतायी जा रही है कि कहीं पीएफआई और एसडीपीआई नूपुर पर किसी तरह के हमले की तैयारी में तो नहीं जुटे थे. केंद्रीय एजेंसियां इस मामले में चौकन्ना होकर जांच कर रही हैं.