देश में अगले साल होने वाले लोकसभा चुनाव को लेकर सत्ता पक्ष और विपक्षी दलों ने अपनी अपनी तैयारियों के साथ ही चुनावी बिगुल भी फूंक दिया है. मंगलवार को दिल्ली में बीजेपी ने एनडीए की बैठक में शक्ति प्रदर्शन किया. तो वहीं बेंगलुरु में एकजुट हुए विपक्षी दलों ने भी महागठबंधन की घोषणा करते हुए उसे इंडिया नाम दिया.
इस दौरान पीएम मोदी एनडीए बैठक को संबोधित करते हुए विपक्ष के गठजोड़ पर तीखा हमला किया. उन्होंने कहा कि हम जब विपक्ष में थे तब भी हमने सकारात्मक राजनीति की, हमने कभी नकारात्मक राजनीति नहीं की. हमने विपक्ष में रहकर सरकारों का विरोध किया, उनके घोटालों को सामने उजागर किया, मगर कभी जनादेश का अपमान नहीं किया और न ही विदेशी ताकतों से मदद की मांग की. जब गठबंधन सत्ता की मजबूरी से होता है, जब गठबंधन भ्रष्टाचार के इरादे से हो, जब गठबंधन परिवारवाद की नीति पर आधारित हो तो वह गठबंधन देश को बहुत नुकसान पहुंचाता है. वो कभी सफल नहीं होंगे.
पीएम मोदी ने विपक्ष को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि जनता देख रही है कि ये पार्टियां क्यों इकट्ठा हो रही हैं. जनता ये भी जान रही है कि ऐसा कौन सा गोंद है जो इन पार्टियों को जोड़ रहा है. किस तरह छोटे-छोटे स्वार्थ के लिए मूल्यों और सिद्धांतों से समझौता किया जा रहा है. उन्होंने कहा कि केरल में लेफ्ट और कांग्रेस में लड़ाई हो
रही है, और बेंगलुरु में ये साथ बैठे हैं. पश्चिम बंगाल में कांग्रेस और लेफ्ट के लोगों को टीएमसी के लोग से लड़ रहे हैं, लेकिन इनके शीर्ष नेता कुछ नहीं कहते. पीएम ने कहा कि ये लोग तोड़ते हैं, हम जोड़ते हैं.
इस दौरान एनडीए में नए जुड़े दलों का स्वागत करते हुए पीएम मोदी ने एनडीए का नया मतलब बताया. उन्होंने कहा कि एनडीए का मतलब है एन से न्यू इंडिया, डी से डेवलप्ड नेशन, ए से एस्पिरेशन ऑफ पीपल यानि लोगों की आकांक्षा. आज युवा, महिलाएं, मध्यम वर्ग, दलित और वंचितों को एनडीए पर भरोसा है. एनडीए के लिए राष्ट्र पहले है, राष्ट्र की सुरक्षा पहले है, प्रगति पहले है और लोगों का सशक्तिकरण पहले है. एक तरह से एनडीए अटल जी की एक ओर विरासत है जो हमें जोड़े हुए है. एनडीए के निर्माण में आडवाणी जी ने भी बहुत अहम भूमिका निभाई थी और वो आज भी हमारा मार्गदर्शन कर रहे हैं.
पीएम मोदी ने कहा कि एनडीए देश के लिए समर्पित है. एनडीए की विचारधारा है देश को विकसित बनाना है. लोगों की सुरक्षा का एहसासा दिलाना, एनडीए का लक्ष्य है. एनडीए के 25 वर्षों की इस यात्रा के साथ एक और संयोग जुड़ा है. उन्होंने कहा कि ये वह समय है, जब हमारा देश आने वाले 25 वर्षों में एक बड़े लक्ष्य की प्राप्ति के लिए कदम बढ़ा रहा है. ये लक्ष्य विकसित और आत्मनिर्भर भारत का है. एनडीए किसी पार्टी के विरोध में नहीं बना है. इसका गठन देश में स्थिरता लाने के लिए किया गया था. जब किसी देश में स्थिर सरकार होती है, तो देश एक साहसिक निर्णय लेता है जो देश की दिशा बदल देता है.