झारखंड में आज बड़ी हलचल है. रांची की राजनीतिक परिस्थितियां अचानक बदल गई है. आज दिन के 11 बजे सीएम सोरेन ईडी के सामने पेश होंगे. अगर ईडी कोई फैसला लेती है तो सरकार में शामिल सभी दल उसका मुकाबला करने को तैयार है. मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने कहा कि परिस्थिति के अनुसार किसी भी फैसले के लिए तैयार रहें.
बुधवार को मुख्यमंत्री आवास में पहले झामुमो विधायकों की बैठक हुई. इसमें सर्वसम्मति से हेमंत सोरेन को फैसला लेने के लिए अधिकृत किया गया. इसके बाद यूपीए विधायको की साझा बैठक हुई़. सभी विधायकों को रांची में ही रहने को कहा गया है.
बुधवार दोपहर कांग्रेस विधायक दल के नेता आलमगीर आलम के आवास में पार्टी विधायकों की बैठक भी हुई. हालांकि इसमें पार्टी के निलंबित विधायकों सहित आठ विधायक नहीं पहुंचे. कांग्रेसी विधायकों ने कहा कि वह पूरी एकजुटता के साथ वर्तमान परिस्थिति से लड़ेंगे. देर शाम मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के आवास पर गठबंधन के विधायक साथ बैठे. इडी के समक्ष पेशी के एक दिन पूर्व हेमंत सोरेन जम कर बरसे भी. उन्होंने झामुमो कार्यकर्ताओं से कहा कि आप डटे रहिये, मैं सबको एक-एक कर देख लूंगा. बीजेपी का नाम लिये बिना कहा कि ये हर तरह के प्रयास में लगे हैं. मुझे सत्ता से बेदखल करने के लिए. आप डटे रहिए मैं सबको एक – एक कर देख लूंगा.
हेमंत सोरेन ने अपने आवास में झामुमो मिलन समारोह को संबोधित किया. समारोह को संबोधित करते हुए सीएम सोरेन ने कहा कि षडयंत्रकारी पनडुब्बी पानी से निकलने की तैयारी कर रहा है. उसको जवाब देना है. उन्होंने कहा कि बाहर से आकर राजनीति करने वाले लोगों को बाहर ही खदेड़ देंगे. इस राज्य में वही राज कर सकता है, जो आदिवासी – मूलवासी की भावना समझता हो. झामुमो ही इस भावना को बखूबी समझ सकती है. अब समय आ गया है कि आदिवासी-मूलवासी एक ही छत के नीचे आयें. यह आपको तय करना है कि षडयंत्रकारियों का राज चलेगा या यहां के आदिवासियों और मूलवासियों का. इनको पता है कि अगर इस आदमी ने पांच साल तक काम किया, तो यहां के आदिवासी-मूलवासी को इतना मजबूत कर देगा कि उनको बाहर जाना होगा.
सीएम ने कहा कि राज्य तो हमने ले लिया है, लेकिन दुर्भाग्य से राज्य की दिशा देने का काम ऐसे लोगों के हाथ में चला गया, जो राज्य के घोर विरोधी रहे हैं. ऐसे लोगों ने 20 साल तक राज किया. वह समय यहां के लोगों के लिए दर्दनाक और पीड़ादायक रहा है. यहां अधिकार के लिए लड़ने वाले लोगों पर लाठियां बरसायी गयी. 2019 के राजनीतिक लड़ाई में हमलोगों ने कांग्रेस, राजद और झामुमो के साथ मिलकर मजबूत गठबंधन की सरकार बनायी. जनता ने हमारी बातों पर विश्वास किया. राज्य बनने के बाद पहली बार ऐसा हो रहा है. जब गांव-गांव पंचायत अधिकारी जा रहे हैं. ऑन स्पॉट आवेदन का निपटारा हो रहा है.