जमाते इस्लामी हिंद की 162 सदस्यीय सर्वोच्च कमेटी मजलिसे नुमाइंदगन की दिल्ली में चल रही है बैठक.
सैय्यद सआदतुल्लाह हुसैनी को जमाते इस्लामी हिंद का राष्ट्रीय अध्यक्ष फिर से चुन लिया गया है. उन्हें जमाते इस्लामी हिंद की 162 सदस्यीय सर्वोच्च कमेटी मजलिसे नुमाइंदगान द्वारा अप्रैल 2023 से मार्च 2027 के नए कार्यकाल के लिए चुना गया है.
दिल्ली में 26 अप्रैल से मजलिसे नुमाइंदगान की बैठक चल रही है, जो 30 अप्रैल तक चलेगी. आज बैठक का चौथा दिन है. खबर के मुताबिक, सर्वोच्च कमेटी के सदस्यों ने कई अन्य नामों पर चर्चा के बाद यह फैसला लिया है. इस बार प्रतिनिधि सभा में 36 महिलाऐं भी हिस्सा ले रही हैं.
बता दें कि सैय्यद सादतुल्लाह हुसैनी का जन्म 7 जून 1973 को महाराष्ट्र के जिला नांदेड़ में हुआ था. उन्होंने नांदेड़ में अपनी पढ़ाई पूरी की, जहाँ उन्होंने इलेक्ट्रॉनिक्स और दूरसंचार इंजीनियरिंग से ग्रेजुएशन की शिक्षा पूरी की. अध्यक्ष बनाए जाने से पहले वो 2015 से 2019 तक संगठन में बतौर उपाध्यक्ष और जमाते इस्लामी हिंद की केंद्रीय सलाहकार परिषद के सदस्य रह चुके हैं.
सैय्यद सादतुल्लाह हुसैनी को 7 अप्रैल, 2019 को पहली बार संगठन का राष्ट्रीय अध्यक्ष चुना गया था. इससे पहले वह जमाते इस्लामी हिंद की छात्र इकाई स्टूडेंट इस्लामिक आर्गेनाइजेशन (SIO) के (1999-2003) में राष्ट्रीय अध्यक्ष भी रह चुके हैं. सआदतुल्ला हुसैनी जमाते इस्लामी हिंद की सेंट्रल एडवाइजरी कमेटी “मजलिस शूरा” के सबसे कम उम्र सदस्य भी रहे हैं.
इस वर्ष 16 अप्रैल को जमाते इस्लामी हिंद ने अपनी स्थापना के 75 वर्ष भी पूरे कर लिए हैं, जिसे जमात ने “संघर्ष के 75 वर्ष” का नाम दिया.
बता दें कि जमाते इस्लामी हिंद की स्थापना 16 अप्रैल, 1948 को इलाहाबाद में हुई थी. जमात-ए-इस्लामी हिंद देश के 22 राज्यों में काम कर रही है. केडरबेस इस संगठन के देश भर में करीब 14,000 सदस्य हैं, जबकि देश भर में जमात से जुड़े लोगों की संख्या 7 लाख से भी अधिक है.